क्षुद्रांत्र

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  • Thumbnail for क्षुद्रांत्र
    क्षुद्रांत्र या छोटी आंत (स्माल इन्टेस्टिन) मानव पाचन तंत्र का एक महत्वपूर्ण भाग है जो आमाशय से आरम्भ होकर बृहदांत्र (बड़ी आंत) पर पूर्ण होती है। क्षुदान्त्र...
  • Thumbnail for उदर गुहा
    (पेट), यकृत, पित्ताशय (गॉलब्लैडर), तिल्ली, अग्न्याशय (पैनक्रिया), आँते (क्षुद्रांत्र और बृहदान्त्र दोनों), गुर्दे और अधिवृक्क ग्रंथि शामिल हैं। उदर गुहा के...
  • Thumbnail for उदर
    है, जिसमें आमाशय (पेट), यकृत, पित्ताशय, तिल्ली, अग्न्याशय, आन्त्र (क्षुद्रान्त्र और बृहदान्त्र दोनों), गुर्दे और अधिवृक्क ग्रंथि जैसे महत्वपूर्ण अंग...
  • Thumbnail for मानव का पोषण नाल
    दूसरे कटि कशेरुक तक ऊपर को चढ़ सा जाता है, जहाँ वह क्षुद्रांत्र (Jejunum) के साथ मिलकर ग्रहणी क्षुद्रांत्र-मोड़ (duodeno-jejunal flextur) बनाता है। ग्रहणी...
  • में होती है। मनुष्यों में, छोटी आंत को आगे फिर पाचनांत्र, मध्यांत्र और क्षुद्रांत्र में विभाजित किया गया है, जबकि बड़ी आंत को अंधात्र और बृहदान्त्र में विभाजित...
  • छोर पर होती है। क्षुद्रबृहदांत्र अवरोधिनी (ileocecal sphincter) -- यह क्षुद्रान्त्र और बृहदांत्र के मिलन बिन्दु पर होती है। ओडी की संवरणी (sphincter of...
  • Thumbnail for मानव का पाचक तंत्र
    मिलाकर तब तक तोड़ा जाता है जब तक कि यह ग्रहणी में नहीं जाता है, जो क्षुद्रान्त्र का प्रथम भाग है। तृतीय चरण ग्रहणी में आन्तरिक चरण से शुरू होता है, जहाँ...
  • Thumbnail for सचोली
    प्रारंभ होता है। इसके मुख्य भाग है, ग्रसिका (oesophagus), आमाशय तथा क्षुद्रांत्रक्षुद्रांत्र ऊपर की ओर मुड़कर अपवाही नाल के निकट खुलता है। अंतर्वाही नाल के...
  • Thumbnail for बद्धान्त्र
    बद्धांत्र की चिकित्सा के लिए लंबी रबर की नली मुँह द्वारा आमाशय तथा उसके आगे क्षुद्रांत्र में डाली जाती थी और उसमें से वायु तथा द्रव पदार्थ बाहर निकाले जाते थे।...
  • Thumbnail for जठरांत्ररोगविज्ञान
    जाता है। आमाशय शोथ (gastritis) के लक्षण बहुत कुछ व्रण के समान होते हैं। क्षुद्रांत्र तथा बृहदांत्र दोनों के शोथ (enteritis तथा colitis) से अतिसार (diarrhoea)...
  • Thumbnail for आंत्रावरोध
    बद्धांत्र की चिकित्सा के लिए लंबी रबर की नली मुँह द्वारा आमाशय तथा उसके आगे क्षुद्रांत्र में डाली जाती थी और उसमें से वायु तथा द्रव पदार्थ बाहर निकाले जाते थे।...
  • Thumbnail for उदराध्मान
    जिसके कारण जलोदर होता है। विशेषज्ञता क्षेत्र जठरांत्ररोगविज्ञान कारण विविध कारण; सामान्यतः पेट, क्षुद्रान्त्र, या बृहदांत्र में वात बनने के कारण होता है।...

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